उपायुक्त गुमला ने जिला अभिलेखागार का निरीक्षण किया

अभिलेखागार भवन की स्थिति जीर्ण-शीर्ण हालत में है, खतियान कैथी भाषा में उपलब्ध है_

अभिलेखागार भवन की साफ-सफाई तथा अभिलेख के उचित संधारण का दिया निर्देश

उपायुक्त गुमला शिशिर कुमार सिन्हा ने पुराने समाहरणालय परिसर स्थित जिला अभिलेखागार (रिकॉर्ड रूम) का औचक निरीक्षण कर अभिलेखों के रख-रखाव, अभिलेखागार की साफ-सफाई, खतियानों के नकल हेतु प्राप्त होने वाले आवेदनों की स्थिति, पंजी संधारण की स्थिति इत्यादि का अवलोकन किया।

उपायुक्त ने अभिलेखागार के निरीक्षण के दौरान वहां की नियमित साफ-सफाई करने का निर्देश देते हुए अभिलेखों के रख-रखाव हेतु समुचित व्यवस्था करने का निर्देश दिया। निरीक्षण के क्रम में बताया गया कि वर्तमान में जिला अभिलेखागार में प्रधान सहायक सनिचरवा किंडो, लिपिक के रूप में मेजरन पन्ना पदस्थापित हैं। साथ ही एक दफ्तरी का भी पदस्थापन जिला अभिलेखागार में है। इसके अतिरिक्त समाहरणालय के लिपिक श्यामाकांत मिश्रा भी अभिलेखागार लिपिक के अतिरिक्त प्रभार में हैं। अभिलेखागार में मौजावार/ थानावार खतियान संग्रहित है। किंतु कंप्यूटराइजेशन की व्यवस्था नहीं होने के कारण सभी अभिलेख की विवरणी हस्तलिखित किया जाता है। इसमें काफी समय लगता है। अभिलेखागार में उपलब्ध पुराने खतियान कैथी भाषा में उपलब्ध हैं। श्यामाकांत मिश्रा कैथी भाषा के जानकार हैं। इसलिए इन्हें अभिलेख संधारण के लिए अभिलेखागार में लिपिक का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है।_जिला अभिलेखागार में औसतन नकल की निकासी के लिए 40 से 50 आवेदन प्रतिदिन प्राप्त होते हैं। एक दिन में 10-15 प्लॉट का विवरण हाथों से लिखना संभव हो पाता है। मौजावार खतियान का प्लॉटवार डाटा हाथ से ही लिखा जाता है। उपायुक्त ने आवेदकों को खतियान की नकल प्राप्त होने में विलंब की शिकायत के संबंध में जानकारी प्राप्त की। अभिलेखागार कर्मियों ने बताया कि आवेदकों को खतियान के नकल की कॉपी उपलब्ध कराने में हाथ से लिखने के कारण काफी समय लगता है। इस संबंध में कार्यालय कर्मियों द्वारा बताया गया कि ईकाई लिपिक मेजरन पन्ना द्वारा नकल के लिए बनाए गए विवरणी को श्यामाकांत मिश्रा द्वारा सत्यापित किया जाता है। तत्पश्चात् कार्यालय अधीक्षक द्वारा हस्ताक्षर के बाद नकल की कॉपी आवेदक को दिया जाता है। बताया गया कि जिले अभिलेखागार में प्रभारी पदाधिकारी के रूप में किसी पदाधिकारी को प्रभार नहीं दिया गया है। इसलिए कार्यालय अधीक्षक द्वारा ही नकल दस्तावेज पर हस्ताक्षर किया जाता है। तत्पश्चात् आवेदक को उपलब्ध कराया जाता है।

निरीक्षण के क्रम में बताया गया कि जिला अभिलेखागार कार्यालय में पदस्थापित लिपिक श्यामाकांत मिश्रा द्वारा अभिलेखागार के आगत-निर्गत पंजी का संधारण किया जाता है। इसपर उपायुक्त ने अभिलेखागार में प्राप्त होने वाले आवेदनों की संधारण पंजी तथा नकल दिए जाने वाले निर्गत पंजी को अद्यतन कर 19 मार्च को उपायुक्त कार्यालय में उपलब्ध कराने का निर्देश दिया। अभिलेखागार की स्थिति दयनीय है तथा कैथी भाषा में लिखे गए 1932 के खतियान की स्थिति भी जीर्ण-शीर्ण हैं। इसे पढ़ने में काफी दिक्कत होती है। मैग्निफाईंग लेन्स के माध्यम से अभिलेख का अध्ययन किया जाता है। अधिकांश अभिलेख कैथी भाषा में उपलब्ध है। श्यामाकांत मिश्रा कैथी भाषा के अभिलेखों को पढ़कर विवरणी सत्यापित करते हैं तथा इनके द्वारा ही अभिलेख का संधारण किया जाता है। आवेदकों द्वारा नकल के लिए दिए गए आवेदन के आधार पर विवरणी तैयार कर प्रधान सहायक सनिचरवा किंडो द्वारा कार्यालय अधीक्षक को उपस्थापित किया जाता है। कार्यालय अधीक्षक द्वारा जाँचोपरांत विवरणी आवेदक को उपलब्ध कराया जाता है।

व्हाट्सप्प आइकान को दबा कर इस खबर को शेयर जरूर करें

Please Share This News By Pressing Whatsapp Button



जवाब जरूर दे 

सरकार के नये यातायात नियमों से आप क्या है ? जवाब जरूर दे ,

View Results

Loading ... Loading ...


Related Articles

Close
Website Design By Bootalpha.com +91 82529 92275
.